AddText 07 19 09.49.56

सूरत के हीरा व्यापारी महेश सवाणी की ओर से हर साल पिता का साया खो चुकीं बेटियों की शादी करने का आयोजन किया जाता है। इस साल भी ‘चुनरी महियर’ के नाम से सामूहिक विवाह का आयोजन किया गया है, जिसमें 300 बेटियों का विवाह होगा। आगामी 4-5 दिसंबर को होने वाले सामूहिक विवाह समारोह के संबंध में शनिवार-रविवार को बैठक आयोजित की गई। बैठक में दो दिन में 240 बेटियां अपनी मां और रिश्तेदारों के साथ शामिल हुईं।

Also read: Meet Rishita, Who Topped with 18th Rank in Her First Attempt: Discovering Her Preparation Strategy

बैठक में शादी का सपना साकार होते देख पिता की छत्रछाया खो चुकीं बेटियाें की आंखें छलक आईं। बता दें, पीपी सवाणी परिवार द्वारा वर्ष 2008 से अलग-अलग राज्यों, जातियों और धर्मों की बेसहारा बेटियों का सामूहिक विवाह कराया जाता है। सामूहिक विवाह कार्यक्रम अब्रामा में आयोजित किया जाता है।

Also read: Mayank Mittal’s UPSC Journey Success Achieved in Two Attempts, His Remarkable Determination Sets a Winning Example.

शनिवार-रविवार को इस संबंध में बैठक आहूत की गई थी, जिसमें बेटियां अपनी मां के साथ मौजूद थी। सामूहिक विवाह में शामिल होने वाली कई बेटियाें के माता-पिता दोनों ही जीवित नहीं हैं। घर जैसे शादी का माहौल और तैयारियों को देखकर बेटियों के आंसू छलक पड़े। बैठक में कई भावुक दृश्य देखने को मिले।

Also read: Meet IAS Officer Pratishtha Shares Her Preparation Strategy for Topping UPSC Exam in the First Attempt – Read Her Insights

आयोजक महेश सवाणी ने बताया कि इस साल 300 बेटियों के सामूहिक विवाह का आयोजन किया गया है। कोरोना संक्रमण की स्थिति रही तो सरकार की गाइडलाइन का पूरी तरह से पालन किया जाएगा। अगर ऐसा भी संभव नहीं हो सका तो हर बेटी की शादी उसके घर पर करवाएंगे। यह कोई राजनीतिक कार्यक्रम नहीं है।

Also read: Meet IAS Officer Tapasya parihar In Just Her Second Attempt, Tapasya from a Small Village Becomes an IAS Officer, Achieving Her Destination Against All Odds.

पीपी सवाणी ग्रुप से जुड़ी रिद्धि पटेल ने बताया कि सामूहिक विवाद की तैयारियां शुरू हो गई हैं। शनिवार को हुई बैठक में मौजूद बेटियां माता-पिता का जिक्र करते हुए भावुक होकर रोने लगीं। इससे बैठक में मौजूद सभी लोग भी भावुक हो गए। रिद्धि ने बताया कि संस्था द्वारा पूरी कोशिश की जाती है.

कि शादी के दौरान बेटियों को माता-पिता की कमी न खले। इसलिए शादी के दौरान घर में होने वाली सभी रश्मों को किया जाता है। उनके परिवार और रिश्तेदारों को भी शामिल किया जाता है। 

सोनू मूल रूप से बिहार के समस्तीपुर जिला के रहने वाले है पिछले 4 साल से डिजिटल पत्रकारिता...