बिहार में एक अक्टूबर से नीतीश सरकार नई व्यवस्था लागू करने जा रही है। इसके चलते एक सितंबर तक काम नहीं कर पाएंगे। इस काम के लिए नीतीश सरकार नई दरें भी निर्धारित करेगी। माना जा रहा है कि नई दर को भी जल्द लागू कर दिया जाएगा। दरअसल बिहार में एक अक्तूबर से बालू खनन को लेकर बिहार सरकार नई व्यवस्था करने जा रही है। सूत्रों के अनुसार जिलों में बालू घाटों की नए सिरे से बंदोबस्ती की जाएगी। इसके लिए खनन एवं भूतत्व विभाग की तैयारी शुरू हो गई। है। कैबिनेट की मंजूरी के बाद इसे लागू कर दिया जाएगा।

पर्यावरणीय स्वीकृति के संबंध में खान एवं भूतत्व विभाग के मसौदे को राज्य कैबिनेट से भी मंजूरी मिलने की संभावना है। एक जुलाई से 30 सितंबर तक नदियों में बालू खनन बंद कर दिया जाएगा। इस तीन महीने के दौरान बालू की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए खान एवं भूतत्व विभाग ने तैयारी शुरू कर दी है।

Also read: Bullet Train In Rajsthan: दिल्ली – अहमदाबाद बुलेट ट्रेन परियोजना के तहत राजस्थान के 7 जिलों के 335 गावों से होकर भी गुजरेगी बुलेट ट्रेन, खबर में जानिए पूरी डिटेल्स…

Also read: India New Expressway: इसी साल में बनकर तैयार होंगे भारत का दूसरा सबसे लंबा सूरत-चेन्नई एक्सप्रेसवे, निर्माण में खर्च किये जायेंगे 50 हजार करोड़ रुपये

नदी घाटों के बंदोबस्तधारियों और लाइसेंसधारी खुदरा बालू विक्रेताआओं को करीब 25 करोड़ सीएफटी बालू का भंडारण 30 जून तक करने का लक्ष्य दिया है। इसके साथ ही अवैध बालू खनन, ढुलाई और भंडारण के खिलाफ कार्रवाई जारी है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार बिहार में प्रत्येक महीने करीब पांच करोड़ सीएफटी बालू की खपत होती है।ऐसे में तीन महीने के दौरान करीब 15 करोड़ सीएफटी बालू की जरूरत है। इस समय बिहार के लाइसेंसधारी खुदरा विक्रेताओं के पास करीब 15 करोड़ सीएफटी बालू उपलब्ध है। साथ ही नदी घाटों के बंदोबस्तधारियों को नदी किनारे से 300 मीटर की दूरी पर बालू का भंडारण करने का निर्देश दिया गया है।

सोनू मूल रूप से बिहार के समस्तीपुर जिला के रहने वाले है पिछले 4 साल से डिजिटल पत्रकारिता...