Site icon First Bharatiya

राजस्थान के छोटे से गांव का छात्र ने Facebook को बताई गलती…. बदले में कंपनी ने भी दिया इनाम

AddText 06 05 09.58.35

चूरू. राजस्थान के चूरू (Churu) जिले से 35 किलोमीटर दूर छोटा सा गांव है मोलीसर बड़ा. इस गांव के छात्र ने पॉपुलर सोशल मीडिया साइट फेसबुक (Facebook) की बड़ी गलती खोज निकाली. कृष्णकुमार ने कभी कोई कम्प्यूटर क्लास या कोचिंग नहीं ली. कम्प्यूटर के बारे में जो भी सिखा वह अपने लैपटॉप और 5 हजार रुपये में खरीदे गए मोबाइल में इन्टरनेट के जरिए सीखा.

Also read: बिहार में होगी आंधी तूफ़ान के साथ मुसलाधार बारिश गर्मी से मिलेगी राहत, जानिये मौसम विभाग की ताजा अपडेट!

24 वर्षीय छात्र कृष्णकुमार ने फेसबुक में ऐसी बड़ी गलती को ढूंढ निकाला जिसे फेसबुक सिक्योरिटी सेंटर ने स्वीकार करते हुए दुरुस्त किया. साथ ही छात्र कृष्णकुमार सिहाग को 1500 डाॅलर (एक लाख दस हजार रुपये) का पुरस्कार भी दिया है. छात्र कृष्ण का सपना है कि फेसबुक, इन्स्टाग्राम जैसी बड़े ऐप में बग्स को ढूंढकर सामने लाना. छात्र कृष्ण कुमार वेब सिक्योरिटी रिर्सचर बनना चाहता हैं, लेकिन घर की आर्थिक हालत खराब होने के कारण उसने घर पर रहकर अपनी ग्रेज्युएशन पूरी की है.

Also read: Vande Bharat Train : बिहार के इन 11 बड़े स्टेशन पर दौड़ेगी वंदे भारत ट्रेन, देख लीजिये लिस्ट आपके स्टेशन का नाम है की नहीं?

कृष्णकुमार ने 3 मई 2021 को फेसबुक सिक्योरिटी केंद्र को मैसेज भेजा कि फेसबुक के पेज पर कोई यूजर अपॉइंटमेंट बुक करता है तो यूजर का मोबाइल नंबर पेज एडमिन को लीक हो रहा था यानि किसी फेसबुक पेज पर जुड़ने वाले करोड़ाें यूजर की प्राइवेसी पेज एडमिन को मिल रही थी. जब उसने इस गलती के बारे में फेसबुक को बताया तो

Also read: Patna To Delhi : पटना से नई दिल्ली के लिए आरा, बक्सर, डीडीयू के रास्ते चलेगी स्पेशल ट्रेन, देखे टाइम टेबल

उन्होने रिप्लाई दिया कि वह इसे समझ नहीं पा रहे हैं. इसके बाद उसने गलती के स्क्रीनशॉट और वीडियो फेसबुक सिक्योरिटी को भिजवाए, जिसपर फेसबुक सिक्योरिटी ने स्वीकार किया की उन्होनें इस एरर को ढूंढ लिया है और इसे फिक्स कर दिया गया है.

Also read: Railway News : सप्तक्रांति एक्सप्रेस, वैशाली सुपरफास्ट समेत बाघ एक्सप्रेस के समय सारणी में बड़ा बदलाव, नए समय पर चलेगी यह ट्रेनें….

कृष्ण ने बताया कि फेसबुक सिक्योरिटी टीम के द्वारा उसे एक लाख दस हजार रुपये की रिवार्ड राशि दी गयी है. इस राशि का उपयोग नया पीसी खरीदने में करेगा. किशन के पिता मजदूरी करते हैं और अन्य परिवार खेती बाड़ी का काम करता है.

कृष्ण के अलावा पूरे परिवार में कोई भी शिक्षित नहीं है. गांव की सरकारी स्कूल में दसवीं तक पढ़ने के बाद कृष्ण ने चूरू के सरकारी स्कूल में एडमिशन लिया और 12वीं तक पढ़ाई की. उसके बाद घर की स्थिति को देखते हुए उसने कॉलेज की पढ़ाई प्राइवेट शुरू की. अब वह बीएड का छात्र है.

Exit mobile version