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बिना किसी कोचिंग ट्यूशन के घर में पढ़कर सेल्फ स्टडी के दम पर ममता यादव बनी अपने गाँव की पहली IAS बिटिया

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दोस्तों एक कहावत है की सफलता एक दिन में नहीं लेकिन मेहनत करते रहने से एक दिन जरूर मिलती है. आज के खबर में हम बात करने वाले है एक ऐसे ही हरियाणा की रहने वाली ममता यादव के बारे में जो की अपने गाँव में वह अकेले आईएएस ऑफिसर है.

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दोस्तों यूपीएससी जैसे देश के सबसे बड़े लेवल की परीक्षा में सफलता पा लेना आसान बात नहीं है. कहा जाता है की यूपीएससी का परीक्षा पास करना मतलब असंभव को संभव कर देना कुछ ऐसा ही कर दिखाई है हरियाणा की रहने वाली ममता यादव ने.

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दोस्तों ममता के जीवन में बहुत संघर्ष आया लेकिन ममता ने कभी हार नहीं मानी और हमेशा अपने जीवन में ममता ने संघर्ष करना चुना कितनी भी मुश्किले क्यूँ न आई लेकिन ममता ने उससे कभी घबराई नहीं बल्कि डटकर उसका मुकाबला की.

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ममता बचपन से ही पढने में काफी तेज तरार छात्रा थी और ममता में क आईएएस ऑफिसर वाला सारा गुण दिखाई पड़ता था. ममता अपने बचपन की पढाई गाँव से ही की वहीँ कॉलेज की पढाई उन्होंने देश की राजधानी दिल्ली से किया उसके बाद यूपीएससी की तैयारी में जुट गई और यूपीएससी में 556वीं रैंक लाकर अपने परिवार सहित पुरे समाज का नाम बढ़ाया.

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गाँव की पहली बेटी बनी आईएएस पूरा गाँव कर रहा गर्व

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