राजधानी पटना के लोगों को अब बिजली का बिल जमा करने से मुक्ति मिलने वाली है। शहर में स्‍मार्ट प्रीपेड मीटर लगाने का काम शुरू हो गया है। इस मीटर में उपयोग करने के बाद बिल देने की बजाय मोबाइल की तरह पहले ही रिचार्ज करना पड़ता है। जितने का आप रिचार्ज करते हैं, उतनी ही बिजली का उपयोग कर पाएंगे। इस बीच शहर के बिजली बिल काउंटरों पर अचानक भीड़ बढ़ गई है। बिजली बिल जमा करने के लिए लंबी कतारें लगने लगी हैं। इसके पीछे वजह यह है कि लोग पिछले कुछ दिनों से आनलाइन बिल जमा नहीं कर पा रहे हैं।

आनलाइन बिजली बिल जमा करने में आई तकनीकी खराबी अब तक दूर नहीं हो पाई है। 29 जुलाई के शाम से खराबी आई है। उपभोक्ता परेशान हैं। पटना विद्युत आपूर्ति प्रतिष्ठान क्षेत्र के 65 फीसदी उपभोक्ता ऑन लाइन बिजली बिल का भुगतान करते हैं। इस कारण काउंटरों पर लगने वाली लंबी कतारें बंद हो गयी थी। अब पटना विद्युत आपूर्ति प्रतिष्ठन के काउंटरों पर उपभोक्ताओं की संख्या बढ़ने लगी है।

बताया जा रहा है कि तकनीकी खराबी दूर की जा रही है। विद्युत कंपनी के उपभोक्ता ऑन लाइन व्यवस्था को सुधार करने में जुटे हुए हैं। खबर लिखे जाने तक तकनीकी खराबियां दूर नहीं हो पाई है। पेसू स्काडा सेंटर में डाटा को वापस लाने का कार्य चल रहा है। विद्युत कंपनी के अधिकारियों का कहना है कि जल्द से जल्द व्यवस्था बहाल हो जाएगी। अभियंताओं की टीम तकनीकी खराबी दूर करने में जुटी हुई है।

अब स्मार्ट प्री-पेड मीटर से संबंधित उपभोक्ताओं की शिकायतों का जवाब दे पाएंगे। पेसू महाप्रबंधक दिलीप कुमार सिंह के निर्देश पर सभी अभियंताओं और स्मार्ट प्री-पेड मीटर लगाने वालों को प्रशिक्षण दिया गया। स्मार्ट प्री-पेड मीटर कंपनी के अधिकारियों ने मीटर के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उपभोक्ताओं की तरफ से उठाए जा रहे सवालों को समझाया गया। आ रही शिकायतों पर सवाल-जवाब सत्र का आयोजन किया गया। ज्यादातर शिकायत मीटर से पैसे कटने की रही।

अब उपभोक्ताओं को संतुष्ट किया जा सकता है। नूतन राजधानी क्षेत्र में मंत्री, विधायकों, सिचवालय, विधानमंडल, पटना उच्च न्यायालय, सरकारी आवास, एमएलए फ्लैट, विद्युत बोर्ड कॉलोनी आदि महत्वपूर्ण स्थल आते हैं। अब तक इस आपूर्ति प्रमंडल में 4500 उपभोक्ताओं के यहां प्री-पेड स्मार्ट मीटर लग चुका है.

सोनू मूल रूप से बिहार के समस्तीपुर जिला के रहने वाले है पिछले 4 साल से डिजिटल पत्रकारिता...